Surya Grahan 20 April 2023
Surya Grahan 20 April 2023:
वर्ष का पहला सूर्यग्रहण गुरुवार को लगने जा रहा है। यह हाईब्रिड सूर्यग्रहण दुनिया के सीमित हिस्सों में हो देखा जा सकेगा।
आपको बता दें इस ग्रहण का पाथ संकरा होने के कारण इसे संकर ग्रहण कहा जाता है। जिस कारण इसे दुर्लभ भी माना जाता है। इसकी पूर्णता का मार्ग उत्तर पश्चिम केप, पश्चिमी आस्ट्रेलिया के एक दूरस्थ प्रायद्वीप के ऊपर से होकर जाएगा।
दुनिया के सीमित हिस्से में देखा जा सकेगा यह ग्रहण
इसके अलावा पूर्वी तिमोर के पूर्वी भागों में व डामर द्वीप में यह ग्रहण नजर आने वाला है। अंत में इंडोनेशिया में पापुआ प्रांत के कुछ ही हिस्सों में यह दुर्लभ सूर्य ग्रहण नजर आएगा। भारत में यह ग्रहण नहीं देखा जा सकेगा। इसके ठीक 15 दिन बाद चंद्रग्रहण होगा। दूसरा सूर्यग्रहण 14 अक्टूबर को लगेगा।
आमतौर पर ग्रहण को अशुभ काल या दुर्घटनाओं से जोड़कर देखा जाता है. लेकिन ज्योतिषविद कहते हैं कि ये कई लोगों के लिए मंगलकारी भी होते हैं. आइए आज आपको बताते हैं कि ये ग्रहण किन राशि वालों के लिए शुभ माना जा रहा है.
ग्रहण एक महत्वपूर्ण खगोलीय घटना है. ज्योतिष शास्त्र में भी ग्रहण को विशेष महत्व दिया गया है. धार्मिक रूप से सूर्य ग्रहण को शुभ घटना नहीं माना जाता है क्योंकि ये वो समय होता है जब सूर्य के ऊपर राहु का प्रभाव बढ़ जाता है और सूर्य ग्रस्त हो जाता है. ग्रहण की वैज्ञानिक ही नहीं धार्मिक मान्यता भी है. साल का पहला सूर्य ग्रहण 20 अप्रैल 2023, गुरुवार को लगेगा. इस सूर्य ग्रहण की अवधि सुबह 07 बजकर 04 मिनट से दोपहर 12 बजकर 29 मिनट तक रहेगी. ये सूर्य ग्रहण मेष राशि और अश्विनी नक्षत्र में लगने जा रहा है. यह सूर्य ग्रहण मेष राशि में 19 साल बाद लगने जा रहा है. आइए जानते हैं साल 2023 का पहला सूर्य ग्रहण किन राशियों के लिए शुभ रहने वाला है.
इन 4 राशियों के लिए रहेगा बेहद शुभ
1. वृषभ
वृषभ राशि वालों के लिए ये सूर्य ग्रहण बहुत ही भाग्यशाली रहने वाला है. वृषभ राशि वालों को शुभ फलों की प्राप्ति होगी. इस समय आर्थिक स्थिति शुभ रहेगी. साथ ही साथ आय के क्षेत्र में बढ़ोतरी होगी. हर क्षेत्र में लाभ प्राप्त होगा. कार्यक्षेत्र में तरक्की मिलेगी. कार्यक्षेत्र में सहकर्मियों का सहयोग प्राप्त होगा. नौकरी में प्रमोशन मिल सकता है. ये सूर्य ग्रहण आपके लिए अत्यंत लाभकारी साबित होगा. बिजनेस से भी लाभ होगा. नए कार्यों की शुरुआत कर सकते हैं.
2. मिथुन
इस राशि के लोगों के लिए आने वाला सूर्य ग्रहण अच्छा सबित होगा. विवाह से जुड़ी सभी समस्याएं दूर होंगी. इस दौरान मिथुन राशि वालों की आर्थिक समस्याएं भी खत्म होंगी. बिजनेस से लाभ होगा. कार्यक्षेत्र में तरक्की ही तरक्की प्राप्त होगी. परिवार का सहयोग प्राप्त होगा. लेकिन किसी भी फैसले को जल्दबाजी में न लें.
3. धनु
धनु राशि वालों के लिए यह सूर्य ग्रहण काफी अच्छा साबित होने वाला है. आपको पिछले निवेशों से लाभ प्राप्त हो सकता है. साथ ही, आप अपने शत्रुओं पर काबू पाने और सामाजिक सम्मान पाने में सक्षम होंगे.
4. मीन
मीन राशि वाले लोगों को आमदनी में बढ़ोतरी का लाभ मिलेगा और आपके संबंध वरिष्ठ लोगों से बनेंगे जो कि समाज के रसूखदार लोग होंगे. इससे आप जीवन में आगे बढ़ने में सफल रहेंगे और आप की आमदनी बढ़ने के मार्ग खुलेंगे.
ग्रहण और सूतकका समय
सूर्य ग्रहण की शुरुआत सुबह 07.04 मिनट पर होगी और समाप्ति दोपहर 12.39 मिनट पर होगी. ग्रहण में सूतक काल की बहुत अहमियत होती है.
सूर्य ग्रहण से 12 घंटे पहले सूतक काल शुरू होता है. सूतक को शास्त्रों में अशुभ माना गया है, इसलिए इस दौरान कुछ खास नियमों का पालन करना चाहिए नहीं तो जीवन पर बुरा असर पड़ता है. हालांकि इस सूर्य ग्रहण का भारत पर प्रभाव नहीं होगा इसलिए सूतक काल भी मान्य नहीं रहेगा लेकिन ऐहतियात के तौर पर कुछ खास चीजों का पालन कर सकते हैं.
सूतक काल में बालक, वृद्ध एवं रोगी को छोड़कर अन्य किसी को भोजन नहीं करना चाहिए। इस दौरान खाद्य पदार्थो में तुलसी दल या कुशा रखनी चाहिए। गर्भवती महिलाओं को खासतौर से सावधानी रखनी चाहिए। ग्रहण काल में सोना और भोजन नहीं करना चाहिए। चाकू, छुरी से सब्जी,फल आदि काटना भी निषिद्ध माना गया है।
हिन्दु मान्यताओं के अनुसार सूतक काल के समय पृथ्वी का वातावरण दूषित होता है. सूतक के अशुभ दोषों से सुरक्षित रहने के लिए अतिरिक्त सावधानी रखनी चाहिए. शास्त्रों के अनुसार ग्रहण और सूतक के दौरान कोई भी शुभ कार्य पूजा, खरीदारी नहीं करना चाहिए.
सूतक काल में सूर्य को अर्घ्य भी नहीं दिया जाता, न ही तुलसी और किसी भी पूजनीय पेड़-पौधों में जल अर्पित करते हैं. इस दौरान सोना भी नहीं चाहिए. इससे दोष लगता है.
सूतक में समस्त प्रकार के ठोस तरल खाद्य पदार्थों का सेवन वर्जित है, हालांकि बुजुर्गों और बीमार व्यक्तियों को छूट है.इसमें न ही भोजन पकाना चाहिए, न ही इनका सेवन करना चाहिए. ऐसा करना अशुभ माना गया है.
सूर्य ग्रहण के दिन गर्भवती महिलाएं खास ख्याल रखें. सावधानियां बरतें. सूतक शुरू होने से ग्रहण खत्म होने तक घर से बाहर न निकलें. नुकीली वस्तुओं जैसे सुई, कैंची, चाकू आदि का उपयोग किसी काम में नहीं करना चाहिए.
सूर्य ग्रहण - सूतक में क्या करें (Surya Grahan Sutak Dont's)
सूतक काल लगने से पहले अनाज और तरल पदार्थों में तुलसी दल और कुश डाल दें. मान्यता है कि इससे इन चीजों को ग्रहण के दुष्प्रभाव से संरक्षित किया जा सकता है.
सूर्य ग्रहण का सूतक काल लगने से पहले मंदिर के पट बंद कर दें. ग्रहण के बाद गंगाजल से स्नान और दान करें. भगवान को भी गंगाजल से स्नान कराएं. इसकी समाप्ति पर पूरे घर में गंगाजल छि़ड़कर शुद्धिकरण करें.
ग्रहण और सूतक काल में पूजा की मनाही है लेकिन मंत्र का जाप करना अच्छा माना जाता है. इससे ग्रहण के अशुभ प्रभाव का असर नहीं होता. ग्रहण के समय महामृत्युंजय मंत्र का उच्चारण या फिर तमोमय महाभीम सोमसूर्यविमर्दन। हेमताराप्रदानेन मम शान्तिप्रदो भव॥ या विधुन्तुद नमस्तुभ्यं सिंहिकानन्दनाच्युत। दानेनानेन नागस्य रक्ष मां वेधजाद्भयात्॥२॥ इस मंत्र का जाप करते रहना चाहिए.
ग्रहण का फल
मेष राशि
20 अप्रैल को होने वाला सूर्य ग्रहण मेष राशि में हो रहा है, इसीलिए मेष राशि के जातकों को सावधान रहने की जरूरत है। यह सूर्यग्रहण मेष राशि वालों को मानसिक परेशानी के साथ साथ स्वास्थ्य की दृष्टि से भी कमजोर बना सकता है।
सिंह राशि
सिंह राशि के जातकों को भी इस ग्रहण के दौरान विशेष सावधानी बरतने की आवश्यकता है। विशेष रूप से तब जब आप किसी लंबी यात्रा की योजना बना रहे हों। इसके साथ ही पैरों से संबंधित समस्या आपको परेशान कर सकती है।
मकर राशि
मकर राशि के जातकों के लिए सूर्य ग्रहण परिवार में समस्याएं ला सकता है। इस ग्रहण के दुष्प्रभाव के कारण परिवार के सदस्यों के बीच झगड़े हो सकते हैं। इसके अलावा मां का स्वास्थ्य भी प्रभावित हो सकता है।
जरुरतमंद लोगों को करें दान और
शुभ काम करने से बचें
सूतक काल में कोई भी शुभ काम नहीं किया जाता है। ग्रंथों के अनुसारसूतक काल में पूजा पाठ और देवी देवताओं की मूर्तियों को भीछूने की मनाही है। इस दौरान कोई शुभ काम शुरू करना अच्छा नहीं माना जाता।
सूर्य ग्रहण के अशुभ असर से बचने के लिए प्रभावित राशि वाले लोगों को ग्रहण काल के दौरान महामृत्युंजय मंत्र के जप करना चाहिए या सुन भी सकते हैं। इसके अलावा जरुरतमंद लोगों को अनाज दान करें। ग्रहण से पहले तोड़कर रखा हुआ तुलसी पत्र ग्रहण काल के दौरान खाने से अशुभ असर नहीं होता।